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में हनुमान जन्मोत्सव
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में हनुमान जन्मोत्सव

जय हनुमान संत हितकारी

हनुमान जन्मोत्सव का दिन बहुत ही हर्षोल्लास के साथ मनाया गया। यह शुभ त्योहार हनुमान जी के जन्म का जश्न मनाने के लिये उल्लास के साथ मनाते हैं। हनुमान रामायण के नायकों मेे से एक हैं। जो अपनी भक्ति, बहादुरी और ताकत के लिये प्रसिद्ध है।

इस वर्ष हनुमान जन्मोत्सव 23 अपैल को एलिट होम्स के मन्दिर के परिसर में भगवान वीर हनुमान को चोला चढ़ाया गया तथा पुष्प माला से सजाया गया। मन्दिर परिसर में हनुमान जी के भजन गाये गये और हनुमान चालीसा का पाठ किया गया, राम नाम की माला का जाप करके हनुमान जी प्रसन्न करने का प्रयास किया गया, बूंदी, चूरमे का भोग लगाया गया फल श्री वितरित किये गये।

हनुमान जी के जीवन से मिलने वाली शिक्षा-दूसरों की संकट की घड़ी में संकट निवारण करें और उनके संकटों को अपना संकट मानकर उसके निवारण के लिये अपने प्राणों तक को दाव पर लगा देना, प्रभु का प्रिय बनने के लिये मानव को सदा कृतज्ञ भाव से सेवा और परमार्थ में लगे रहना चाहिये। दूसरों को जीतने वाले को वीर और जो स्वयं को जीत ले उसे महावीर कहते हैं। महावीर हनुमान जी का जीवन मानवमात्रा को जितेन्द्रिय बनने की प्रेरणा भी देता है।

हनुमान जन्मोत्सव साल में दो बार मनाया जाता है, एक उत्सव चैत्रा मास की पूर्णिमा को और दूसरा कार्तिक मास की चतुर्दशी तिथि को मनाया जाता है उनके जन्म को लेकर प्रश्न उठते है कि उनका जन्म दो बार क्यों मनाया जाता है इसके पीछे पौराणिक कथा है निम्न प्रकार है धर्म ग्रन्थों के अनुसार एक बार भूख से पीड़ित होने पर हनुमान जी सूर्यदेव को फल समझकर निगल लिया, इन्द्रदेव ने उनसे सूर्यदेव को मुंह से निकालने को कहा उन्होंने मना कर दिया तभी क्रोधित होकर वज्र से प्रहार किया जिस कारण वे बेहोश होकर गिर गए, यह देख पवन देव नाराज हो गये और उन्होंने सारे संसार में वायु का प्रवाह रोक दिया इसके बाद ब्रह्मा आदि अन्य देवताओं ने हनुमान जी को दूसरा जीवन दिया तथा दिव्य शक्तियां दी यह घटना चैत्रा मास की पूर्णिमा के दिन घटी तभी से इस दिन जन्मोत्सव के रूम में मनाया जाता है, दूसरा जन्म पौराणिक कथाओं के अनुसार कार्तिक मास को कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि को माता अंजनी की कोख से हुआ कहा जाता है उनके जन्म के समय कई तरह के शुभ संयोग बने था जिनका बनना आति दुर्लभ माना जाता है बल, बुद्धि, विद्या, विनय, विवेक एवं स्वामी भक्ति का गुण ही भगवान हनुमान जी के जीवन को जन जन का आदर्श प्रभु राम और माता जानकी का प्रिय बनाता है।

बुद्धि विवेक के भंडार, ज्ञानियों में प्रथम भक्त शिरोमणि हनुमान जी महाराज के मंगलमय पावन प्राक्टय उत्सव की आप सभी को अनन्त शुभकामनाएं एवं मंगल बधाई।

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