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Sun City

बस प्यार लहलहाए

ये दुआ है मेरी रब से गहराईयों की जद से,
बस प्यार जगमगाऐ ये रुह में उतर जाऐ।

गुलनाज हो मुहब्बत और नाश हो पहरों का,
हर बार हो नजारा हँसते हुए चहरों का।

स्क्रीन हो लिमिट में महफिल हो आॅफ लाइन,
हो ईद या दिवाली सब मिलके करें ज्वाइन।

खेलों की रहे रौनक सेहत का बोलबाला,
हर सू रहे मुहब्बत नफरत का मुंह काला।

नववर्ष में वफा हो नववर्ष में दया हो,
मायूस न रहें हम खुशहाल सनसिटी हो।

ये दुआ है मेरी रब से गहराईयों की जद से,
बस प्यार लहलहाऐ ये रूह में उतर जाऐ।

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